HDD और SDD में क्या अन्तर है, Difference between HDD And SSD, HDD or SSD me kya antar hai, एचडीडी और एसएसडी में अन्तर क्या है।
नमस्कार दोस्तों Informationhindi पर आपका एक दफा फिर से स्वागत है, आज के इस लेख में हम HDD और SDD में क्या अन्तर है ( difference between hdd and ssd in hindi ) के बारे में जानने वाले है, साथ में हम जानेंगे की
HDD क्या है, SSD क्या है, बेस्ट एसएसडी इन इंडिया, एवं एचडीडी और एसएसडी के बारे में विस्तार से संपूर्ण बाते जानने वाले है।
दोस्तों जब भी कोई व्यक्ति नया कंप्यूटर सिस्टम लेने के बारे ने सोचता है तो उसके मन में एक चिंता होती है की कंप्यूटर सिस्टम की स्टोरेज के लिए कोनसी स्टोरेज ड्राइव लेना सही रहेगा।
कंप्यूटर सिस्टम में स्टोरेज डिवाइस के लिए दो प्रकार के ड्राइवर मौजूद होती है पहली SSD और दूसरी HDD, परन्तु दोस्तो बहुत सारे लोगो को यह जानकारी नहीं है की HDD क्या है, और SSD क्या है।
एवं HDD और SSD में क्या अंतर है( Difference between HDD And SSD in hindi ) , क्योंकि दोस्तों जब भी आप अपने कंप्यूटर के लिए कोई ड्राइव खरीदते हैं तो इन दोनों में से आपको कोई एक का चयन करना पड़ता है ऐसे मैं आपको इन दोनों की परफॉर्मेंस पर भी ध्यान देना जरूरी हो जाता है।
क्योंकि दोस्तों सभी लोगों की जरूरत अलग-अलग होती है ऐसे में आपको Budget, Performance आदि सभी चीज का बहुत ज्यादा ध्यान रखना होता है कि आपके लिए कौन सी ड्राइव सही रहेगी।
तो चलिए दोस्तों सबसे पहले हम HDD के बारे में विस्तार से जान लेते है, उसके बाद जानेंगे HDD or SSD me kya antar hai के बारें में।
HDD Kya Hai ( Hard disk drive in hindi )
HDD का फूल फॉर्म Hard disk drive होता है, hard disk को hard drive या hard disk drive भी कहा जाता है यहां एक डाटा स्टोरेज डिवाइस होता है जिसमें डेटा स्थाई रूप से सुरक्षित रहता है।
इसलिए इसे परमानेंट स्टोरेज डिवाइस भी कहा जाता है, कंप्यूटर के लिए यहां सेकेंडरी मेमोरी होती है जिसमें ऑपरेटिंग सिस्टम, एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर तथा सेव की गई सारी डाटा स्थाई रूप से Store रहता है।
परंतु इसका इस्तेमाल केवल कंप्यूटर में ही नहीं बल्कि सर्व एलियंस सिस्टम इत्यादि में भी किया जाता है, इसकी डाटा स्टोरेज कैपेसिटी बहुत ही ज्यादा होती है यह एक Non Volatile मेमोरी है।
क्योंकि इसमें सेव की गई डाटा पावर ऑफ हो जाने के बाद भी नहीं मिटती है, दोस्तों पहले के समय में हार्ड डिस्क की स्टोरेज क्षमता बहुत कम होती थी लेकिन आज के वर्तमान समय में मार्केट में ऐसा हार्ड डिस्क मौजूद है जिन की स्टोरेज क्षमता 2TB तक की है।
और स्पीड भी बहुत अधिक होती है हार्ड डिस्क की स्पीड को आरपीएम में मापा जाता है तो दोस्तों अब आप समझ गए होंगे कि हार्ड डिस्क क्या होती है।
अब हम जानेंगे हार्ड डिस्क के इतिहास के बारे में उसके बाद जानेंगे Hdd or SSD me kya antar hai ( Difference between HDD And SSD in hindi ) के बारें में।
हार्ड डिस्क का इतिहास (History of Hard disk in hindi)
दुनिया में पहली हार्ड डिस्क ड्राइव का निर्माण 13 सितंबर सन 1956 को आईबीएम कंपनी के द्वारा किया गया था आईबीएम ने 305 RAMAC नाम के सुपर कंप्यूटर को लॉन्च किया जिसमें हार्डडिस्क लगी हुई थी।
और इस हार्डडिस्क का वजन लगभग 1 टन से भी अधिक था, इसकी स्टोरेज क्षमता मात्र 5 एमबी की थी और यहां एक इनबिल्ट हार्ड डिस्क थी मतलब इसे कंप्यूटर से अलग नहीं किया जा सकता था।
सन 1963 में आईबीएम कंपनी ने ही पहली ऐसी हार्ड डिस्क का निर्माण किया जिसे कंप्यूटर से अलग किया जा सकता था, इसकी स्टोरेज कैपेसिटी 2.6 एमबी थी आईबीएम लगातार हार्ड डिस्क काम कर रहा था
और सन 1980 में IBM ने पहला ऐसा हार्ड डिस्क बनाया जिसकी क्षमता 1GB थी, इसके बाद भी हार्ड डिस्क को लगातार इंप्रूव किया गया और अनेकों कम्पनीयो ने हार्ड डिस्क का निर्माण किया, और उन्होंने बहुत एडवांस हार्ड डिस्क तैयार किए।
हार्ड डिस्क के प्रकार (Types of hard disk in hindi)
हार्ड डिस्क मुख्य रूप से चार प्रकार की होती है, जिनके बारे में हमने आपको नीचे बताया है, 4 हार्ड डिस्क के नाम कुछ इस प्रकार है –
- PATA ( Parallel Advanced Technology Attachment)
- SATA ( Serial Advanced Technology Attachment )
- SSD ( Solid State Drive)
- SCSI ( Small Computer System Interface)
अब आप समझ ही गए होंगे कि हार्ड डिस्क कितने प्रकार के है अब हम जाएंगे SSD Kya hai के बारें में।
SSD क्या है ( Solid State Drive in hindi)
SSD का पूरा नाम सॉलि़ड स्टेट ड्राइव ( Solid State Drive) होता है, यहां हमारे कंप्यूटर में लगी एक स्टोरेज डिवाइसे होती है जो कंप्यूटर में डाटा को सस्टोर करती है ठीक उसी प्रकार से जिस प्रकार हार्ड डिस्क हमारे कंप्यूटर में डाटा स्टोर करके रखता है।
SSD हार्ड डिस्क का ही एक नया वर्जन है या कहे तो SSD हार्ड डिस्क का अपडेट वर्जन है, जोकि हार्ड डिस्क की तुलना में अधिक तेज है और कम बिजली की खपत करता है।
SSD फ्लैश स्टोरेज होती है अर्थात जिस प्रकार से मेमोरी कार्ड और पेन ड्राइव होते हैं उसी प्रकार से SSD डाटा को स्टोर करता है, अन्य हार्ड डिस्क की तुलना में एसएसडी आकार में छोटी और वजन में हल्की होती है।
SSD में कोई डाटा Moving Part नहीं होता है इसमें संपूर्ण डाटा चिप में ही सेव होता है SSD, हार्ड ड्राइव की तुलना में महंगी होती है क्योंकि इसकी क्वालिटी, परफॉर्मेंस और फीचर्स अधिक प्राप्त होते हैं, SSD बहुत अधिक कीमत में बहुत कम स्टोरेज प्रदान करती है।
SSD कैसे काम करता है?
हार्ड डिस्क में एक मैग्नेटिक डिस्क होती है, जिसके घूमने के कारण डाटा स्टोर एवं ट्रांसफर और एक्सेस होता है, लेकिन SSD में ऐसा नहीं होता है इसमें कोई मूवी पार्ट नहीं होता है एसएसडी में छोटी-छोटी सेमीकंडक्टर चिप लगी हुई होती है।
यही सेमीकंडक्टर चिप SSD में डाटा को स्टोर करती है, डाटा स्टोर करने के लिए सेमीकंडक्टर मैग्नेट की तुलना में बेहतर कम्युनिकेट कर सकता है, इसलिए एसएसडी हार्ड डिस्क की तुलना में अधिक बेहतर होती है।
SSD का इतिहास ( History of SSD in hindi )
पहली सॉलि़ड स्टेट ड्राइव को Sandisk Corporation के द्वारा सन 1991 में बनाया गया था, इस सॉलि़ड स्टेट ड्राइव की स्टोरेज कैपेसिटी 20mb की थी लेकिन यहां Flash SSD नहीं थी।
इसके कुछ समय बाद सन 1995 में M System के द्वारा पहला Flash SSD को बनाया गया था आज के वर्तमान समय में मार्केट में बहुत ज्यादा एडवांस सॉलि़ड स्टेट ड्राइव आ चुकी है जिनके स्टोरेज क्षमता लगभग 30 TB तक की है।
SSD के प्रकार ( Types of SSD in hindi )
SSD मुख्य रूप से दो प्रकार की होती है जिनके बारे में हमने आपको नीचे विस्तार से बताया है –
- SATA SSD
- NVMe SSD
SATA SSD ( Serial Advanced Technology Attachment)
साटा सबसे पुराने टाइप एसएसडी है जो कि एक लैपटॉप में हार्ड ड्राइव की तरह ही होती है साटा एसएसडी की स्पीड 570 एमबी प्रति सेकंड होती है यह एसएसडी हार्ड डिस्क ड्राइव की तुलना में 5 गुना तक तेजी से काम करती है।
NVMe ( Non-volatile Memory Express)
NVMe SSD एक प्रोटोकॉल है जो कि टाटा एस एच डी की तुलना में 5 गुना फास्ट ही NVMe SSD की गति 2600 MB प्रति सेकंड तक होती है अगर आप अपने लैपटॉप में NVMe SSD का इस्तेमाल करते हैं तो आपके लैपटॉप में बड़े से बड़े सॉफ्टवेयर कुछ ही सेकंड में ओपन हो जाएंगे।
तो दोस्तों अब आप SSD के दोनों प्रकार के बारे में जान ही गए होंगे अब हम जानेंगे
SSD के कार्य
एसएसडी का मुख्य कार्य हार्ड डिस्क की भांति डाटा को इंस्टॉल करने का ही होता है लेकिन एसएसडी की परफॉर्मेंस स्पीड हार्ड डिस्क की तुलना में बेहतर होती है इस वजह से कंप्यूटर की परफॉर्मेंस बढ़ जाती है यहां एचडीडी की तुलना में बेहतर तरीके से काम करता है।
तो दोस्तों अब आप समझ गए होंगे कि एसएसडी के कार्य क्या होते हैं अब हम जानेंगे HDD और SSD में क्या अंतर है ( Difference between HDD and SSD in hindi ) के बारें में।
HDD और SSD में क्या अंतर है ( Difference between HDD and SSD in hindi)
अन्तर का आधार | SSD ( Solid State Drive ) | HDD ( Hard Disk Drive ) |
किस की स्पीड बेहतर है | SSD की स्पीड एचएसडी की तुलना में अधिक होती है क्योंकि इसमें कोई मूविंग पार्ट नहीं होता है, इसलिए SSD की स्पीड फास्ट होती है। | हार्ड डिस्क ड्राइव की स्पीड कम होती है क्योंकि इसमें मूवी पार्ट लगे हुए होते हैं। |
किस की स्टोरेज क्षमता अधिक होती है। | SSD और HDD की स्टोरेज क्षमता को हम हमारे हिसाब से बढ़ा सकते हैं, लेकिन देखा जाए तो SSD हार्ड डिस्क की तुलना में महंगी आती है इसलिए इसकी स्टोरेज क्षमता भी कम होती है। | हार्ड डिस्क ड्राइंग की कीमत कम से कम कीमत बेहतर स्टोरेज उपलब्ध करवाती है। |
किसकी कीमत ज्यादा है। | SSD की कीमत हार्ड डिस्क की तुलना में बहुत अधिक होती है। | हार्ड डिस्क की कीमत बहुत कम होती है और वहां कम कीमत पर भी अधिक स्टोरेज प्रदान करता है। |
Booting Time किसका कम है। | SSD में ऑपरेटिंग सिस्टम का बुटिंग टाइम 5 से 25 सेकेंड तक का होता है। | HDD में ऑपरेटिंग सिस्टम का बुटिंग टाइम 30 से 40 सेकंड तक का होता है। |
ज्यादा हिट कौन पैदा करता है। | SSD में Moving Part नही होते है इसलिए वह बिल्कुल भी noise पैदा नहीं करता है। | HDD में Moving Part होते है इसलिए वह noise पैदा करता है। |
कैसे पता करे कि कंप्यूटर में HDD है या SSD
दोस्तों अगर आप जानना चाहते हैं कि आपके कंप्यूटर में हार्ड डिस्क लगी है या सॉलि़ड स्टेट ड्राइव तो आप नीचे बताई गई प्रोसेस को फॉलो करके बड़ी ही आसानी से जान सकते हैं कि आपके कंप्यूटर में हार्ड डिस्क ड्राइव लगी है या सॉलि़ड स्टेट ड्राइव
दोस्तों सबसे पहले आपको Window Key के साथ R प्रेस करना है।
इसके बाद दोस्तों आपको सर्च बार में Dfrgui लिखकर सर्च के बटन पर क्लिक कर देना है।
इसके बाद दोस्तों आपको यहां पर Media type का एक कॉलम दिखाई देगा उसमें आपको लिखा हुआ दिख जाएगा कि आपके कंप्यूटर में हार्ड डिस्क के है या सॉलि़ड स्टेट ड्राइव।
कम्प्यूटर में SSD लगाए या HDD
दोस्तों अगर आप अपने कम्प्यूटर के लिए कोई स्टोरेज डिवाइस लेना चाहते है और आपके मन में यह कंफ्यूजन है की Hard disk drive ले Solid State Drive ले दोनो में से कौनसी बेहतर है तो नीचे हम आपका यह कंफ्यूजन दूर करने वाले है।
दोस्तों अगर आपको अपने कंप्यूटर में हाई स्पीड और Performence चाहिए और स्टोरेज काम चाहिए तो आपके लिए Solid State Drive एक बहुत ही अच्छा विकल्प है, SSD में आपका डाटा भी सुरक्षित रहने वाला है।
लेकिन दोस्तों अगर आपको अपने कंप्यूटर में स्टोरेज ज्यादा चाहिए और स्पीड भी बेहतर चाहिए तो आपके लिए Hard disk drive एक बेहतर विकल्प है, हार्ड डिस्क ड्राइव में आपको कम पैसों में अच्छे फीचर्स देखने को मिल जाते हैं, और आपको स्टोरेज भी अधिक मिल जाती है।
HDD का पूरा नाम क्या है?
HDD का पूरा नाम Hard Disk Drive होता है।
SSD का पूरा नाम क्या है?
SSD का पूरा नाम Solid State Drive होता है।
क्या एसएसडी फेल हो सकता?
SSD एक मशीन जैसी होती है जो कभी भी खराब हो सकती है, ऐसा निश्चीत नही है की एसएसडी कभी फेल नहीं होती है।
क्या मुझे एसएसडी खरीदनी चाहिए?
SSD को आप खरीद सकते है, क्योंकि यह अधिक तेज, टिकाऊ, अधिक कॉम्पैक्ट, शांत और कम ऊर्जा की खपत करने वाले होते है।
मुझे किस साइज की हार्ड ड्राइव चाहिए?
दोस्तों अगर आपको सामान्य कार्य को करने के लिए हार्ड ड्राइव चाहिए तो आप 500GB से 1TB तक की हार्ड ड्राइव में आसानी डाटा को स्टोर कर सकते है।
SSD का क्या काम होता है?
SSD का कार्य मुख्य रूप से डाटा को स्टोर करने का होता है यहां कंप्यूटर और लैपटॉप में प्रयुक्त की जाती है डाटा को स्टोर करने के लिए।